दरोगा भर्ती धांधली के मामले में 15 और दरोगाओं पर गाज गिर सकती है। बताया जा रहा है कि विजिलेंस की टीम अगले सप्ताह तक इनके नामों का खुलासा कर पुलिस मुख्यालय को भेजेगी। और इनके विरुद्ध भी पहले 20 दरोगाओं की तरह कार्रवाई की जाएगी। इन दरोगाओं की ओएमआर शीटों में गड़बड़ी की बात भी प्राथमिक जांच में सामने आ चुकी है। विजिलेंस अन्य दरोगाओं की भी तलाशी में जुटी हुई है।
मिली जानकारी के मुताबिक बीते माह जुलाई में एसटीएफ के हत्थे चढ़े पंतनगर विश्वविद्यालय के बाबू दिनेश चंद ने दरोगा भर्ती धांधली का खुलासा किया था। उसने एसटीएफ टीम को बताया था कि साल 2015 में हुई सीधी भर्ती में लोगों से पैसे लेकर दरोगा बनाया गया है। इस काम में विवि के डीन जादौन ने भी साथ दिया था। वही विजिलेंस ने जांच शुरू की तो बीते वर्ष आठ अक्तूबर को इन दोनों समेत 12 के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया। विजिलेंस अन्य पहलुओं पर जांच भी कर रही है। प्राथमिक जांच के बाद पिछले दिनों विजिलेंस ने 20 दरोगाओं के नाम पुलिस मुख्यालय को सौंपे थे।
इनके खिलाफ पुलिस मुख्यालय ने निलंबन की कार्रवाई की थी। सूत्रों के मुताबिक, विजिलेंस ने 15 और दरोगाओं की छंटनी कर ली है। इनके नामों को भी जल्द उजागर किया जा सकता है। बताया जा रहा है कि इसमें विजिलेंस को एक सप्ताह का समय लग सकता है।
पुलिस मुख्यालय इनके खिलाफ भी कार्रवाई करेगा। डीजीपी अशोक कुमार पहले ही चेतावनी दे चुके हैं कि सबको बर्खास्त किया जाएगा। हालांकि, यह कार्रवाई जांच पूरी होने के बाद ही की जाएगी। जांच पूरी होने तक दागी दरोगा निलंबित ही रहेंगे।