उत्तराखंड बोर्ड : बोर्ड परीक्षा में फेल हुए या कम नम्बरों से पास हुए विद्यार्थियों को अब मायूस होने की जरूरत नही, सरकार कैबिनेट लाएगी यह प्रस्ताव

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उत्तराखंड बोर्ड की 10वीं और 12वीं की परीक्षा में फेल हो गए या कम नम्बरों से पास हुए हैं विद्यार्थियों को अब मायूस होने की जरूरत नही है। सरकार दो विषयों में फेल हुए छात्र-छात्राओं के साथ ही अब कम अंकों से पास हुए छात्रों को भी अंक सुधार का मौका देगी। शिक्षा मंत्री डाॅ. धन सिंह रावत ने कहा कैबिनेट में इसका प्रस्ताव लाया जाएगा। कहा कि प्रति वर्ष लगभग दो लाख छात्र बोर्ड परीक्षा में पास होते है।

उत्तराखंड बोर्ड की 10वीं और 12वीं की परीक्षा में हर साल लगभग ढ़ाई लाख छात्र-छात्राएं शामिल होते हैं। इसमें से लगभग 50 हजार छात्र फेल हो जाते हैं। अधिकतर छात्र एक या दो विषयों में फेल होते हैं। एक बार परीक्षा में फेल होने के बाद छात्र-छात्राओं को उसी साल फिर से परीक्षा का मौका नहीं मिलता, लेकिन राज्य सरकार इन छात्रों को अब पास होने का मौका देना चाहती है।

शिक्षा मंत्री के मुताबिक राज्य की भौगोलिक परिस्थितियां अन्य राज्याें की तुलना में अलग हैं। प्रदेश में ऐसे छात्र-छात्राएं भी हैं जो खेतों में काम करने के बाद परीक्षा देने पहुंचते हैं। इसके अलावा अचानक स्वास्थ्य खराब होने की वजह से भी कुछ छात्र ठीक से परीक्षा नहीं दे पाते।
ताकि छात्रों का साल खराब न हो
ऐसे छात्रों का साल खराब न हो इसके लिए सरकार की ओर से यह कदम उठाया गया है। मंत्री के मुताबिक फेल छात्र-छात्राओं के साथ ही उन छात्र-छात्राओं को भी अंक सुधार का मौका दिया जाएगा। जो छात्र परीक्षा में पास हैं और यह समझते हैं कि उनके अच्छे अंक आ सकते थे, लेकिन नहीं आए।

आपको बता दें बोर्ड की लिखित परीक्षाएं 16 मार्च से शुरू होनी हैं। इस साल हाईस्कूल में 127320 और इंटरमीडिएट में 132110 परीक्षार्थी परीक्षा देंगे।

शिक्षा मंत्री धन सिंह रावत ने कहा कि यूपी के समय में फेल छात्रों के लिए फिर से परीक्षा की व्यवस्था थी, लेकिन उत्तराखंड में इस व्यवस्था को बंद कर दिया गया था। अब फेल और पास सभी छात्र जो परीक्षा देना चाहते हैं उन्हें परीक्षा का मौका दिया जाएगा। मंत्री

Gunjan Mehra